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मुस्लिम आरक्षण, स्कूलों में सूर्य नमस्कार और यूसीसी के खिलाफ लाएंगे प्रस्ताव, जमियत उलेमा-ए-हिंद तैयार

नई दिल्ली, 06 जुलाई  2024 (यूटीएन)। देश में मुसलमानों के सबसे बड़े संगठन जमीयत उलेमा-ए-हिंद की दो दिवसीय आम परिषद की बैठक हो रही है. ये बैठक नई दिल्ली के आईटीओ स्थित जमीयत मुख्यालय में हो रही है. इस बैठक में जमीयत संगठन समान नागरिक संहिता, सूर्य नमस्कार सहित स्कूलों में हिंदू संस्कृति को लागू करने और मुसलमानों के लिए आरक्षण पर प्रस्ताव पारित करेगी. वहीं, इन प्रस्तावों को आखिरी दिन अंतिम रूप दिया जाएगा, जोकि सुबह 8 बजे शुरू होगा और 11:30 बजे कार्यक्रम का समापन होगा.    *जमीयत उलमा-ए-हिंद ने फिलिस्तीन पर जताई चिंता* दरअसल, जमीयत उलेमा-ए-हिंद की गवर्निंग काउंसिल की महत्वपूर्ण बैठक सुबह नई दिल्ली स्थित इसके मुख्यालय में शुरू हुई, जिसमें देश भर से करीब 1500 सदस्य शामिल हुए. जमीयत उलेमा-ए-हिंद के पहले सत्र में भारत में बढ़ते नफरत भरे अभियानों और इस्लामोफोबिया, फिलिस्तीन में इजरायली सरकार के किए जा रहे नरसंहार पर चर्चा की गई, जिसके बाद कई प्रस्तावों को मंजूरी दी गई. हालांकि, आने वाले सत्रों में कई राजनीतिक और सामाजिक मुद्दों पर चर्चा की जाएगी, जिसमें इस्लामी मदरसों के खिलाफ नकारात्मक प्रचार और स्कूलों में मुस्लिम बच्चों पर गैर-इस्लामी प्रथाओं और हिंदू संस्कृति को थोपना शामिल है.   *आबादी के बड़े हिस्से को निशाना बनाना राष्ट्रीय हित के खिलाफ* इस बीच मौलाना जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख मौलाना महमूद असद मदनी ने कहा कि देश नफरत पर नहीं बल्कि प्रेम और एकता पर पनप सकता है. उन्होंने भीड़ की ओर से हत्या की बढ़ती घटनाओं और मुस्लिम समुदाय के खिलाफ दुष्प्रचार के प्रसार की निंदा की. साथ ही कहा कि इसे देश के ताने-बाने और इसकी अंतरराष्ट्रीय प्रतिष्ठा के लिए हानिकारक होगी.   *गुमराह करने वाली ताकतों के खिलाफ रहें सतर्क* मौलाना मदनी ने युवाओं से गुमराह करने वाली ताकतों के खिलाफ सतर्क रहने का आह्वान किया. साथ ही उन्होंने चेतावनी दी कि निहित स्वार्थी तत्व निराशा और निराशा फैलाने के लिए उनकी भावनाओं का फायदा उठा सकते हैं. इसके साथ ही उन्होंने मुस्लिम समुदाय को निशाना बनाने वाले जिम्मेदार व्यक्तियों की चिंताजनक बयानबाजी पर चिंता जताई, जिसमें ज्यादा बच्चा पैदा करते हैं" और "घुसपैठिए" जैसे बयान शामिल हैं. उन्होंने कहा कि आबादी के इतने बड़े हिस्से को निशाना बनाना राष्ट्रीय हित के खिलाफ है.   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jul 6, 2024

ज्ञापन :हिंदुओं के संबंध में राहुल गाँधी के बयान पर नाराजगी जताते हुए राष्ट्रपति से कार्यवाही की मांग

बागपत, 05 जुलाई 2024 (यूटीएन)। संसद में हिंदुओं से संबंधित राहुल गाँधी द्वारा संसद में दिए गए बयान पर कावड़ सेवा समिति ने जताई गहरी नाराजगी। कलेक्ट्रेट परिसर में प्रदर्शन किया प्रदर्शन और राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन एडीएम को सौंपा। ज्ञापन में विपक्ष के नेता राहुल गाँधी के खिलाफ कार्यवाही हेतु लोकसभा अध्यक्ष को निर्देश देने का अनुरोध।    कांग्रेस सांसद तथा विपक्ष के नेता राहुल गाँधी ने 1 जुलाई को संसद सत्र के बीच कथित विवादित बयान उस समय दिया गया ,जब वे राष्ट्पति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर बोल रहे थे। चर्चा के दौरान राहुल गाँधी ने अपने भाषण में भगवान शिव की तस्वीर दिखाते हुए अभय मुद्रा मे हिन्दू धर्म का उपहास उड़ाने का भी आरोप लगाया गया तथा कहा था कि ,जो लोग खुद को हिन्दू कहते हैं, वो हिंसा - नफरत करते हैं!   प्रदर्शनकारियों का कहना है कि,राहुल गाँधी द्वारा पूरे हिन्दू समाज को हिंसक कहना गंभीर विषय हैं तथा यह उन्होंने जानबूझ कर हिन्दू समाज को आहत करने की नियत से कहा हैं और इससे राहुल गाँधी की हिन्दुओ के प्रति घृणित मानसिकता का पता चलता हैं। कांवड सेवा संघ ने कहा कि, उनके बयान से हिन्दू समाज मे रोष व्याप्त है।    राष्ट्रपति महोदया को संबोधित ज्ञापन जिला मुख्यालय पर एडीएम को सौंपा गया जिसमें राहुल गाँधी के खिलाफ कार्यवाही हेतु लोकसभा अध्यक्ष को निर्देश देने की बात कही गई है।ज्ञापन देने वालों मे जयकुमार कंडेरा, प्रतिभा शर्मा डिमरी,सत्यवीर ठाकुर, कपिल शर्मा, प्रियंका आर्या, पूजा शर्मा, ऊषा मलिक, सतीश एडवोकेट, राजीव राजपूत, अजय शर्मा, दीपक मानव, सतीश बाल्मीकि,मुकेश तोमर, सुनील, हिमांशु कौशिक, सुनील मान, ललित, राकेश आर्या, पारुल आर्या, प्रियांशी आर्या, प्रवेश, अनिल अमित आदि मौजूद रहे।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jul 5, 2024

रटौल आम को जीआई टैग से बनी राष्ट्रीय स्तर पर नई पहचान, 6 जुलाई को रटौल में आम महोत्सव

बागपत,05 जुलाई 2024 (यूटीएन)। राष्ट्र व प्रदेश स्तर पर जनपद बागपत की खेकड़ा तहसील क्षेत्र के नगर पंचायत रटौल का आम अपनी  एक नई पहचान रखता है। रटौल आम प्रजाति के नाम से प्रसिद्ध यह आम राज्य स्तर पर आम महोत्सव का प्रशंसनीय व आकर्षण का केंद्र रहा है। प्रतिवर्ष लखनऊ में प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा भी इस आम का अवलोकन किया जाता रहा है। इस बर्ष जनपद बागपत में जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह के निर्देशन में तहसील खेकड़ा क्षेत्र के नगर पंचायत रटौल में आम महोत्सव का आयोजन 6 जुलाई को अपराह्न 2: बजे से किया जाएगा।   जिला उद्यान अधिकारी दिनेश कुमार अरुण ने बताया कि, इस जनपद स्तरीय आम महोत्सव में जनपद के सभी अधिकारी प्रतिभाग करेंगे।बताया कि, भारतवर्ष में पायी जाने वाली आम की प्रजातियों में रटौल प्रजाति मुख्य स्थान रखती है, जो उत्तर भारत के बागपत जनपद के खेकड़ा तहसील क्षेत्र के रटौल नगर पंचायत में उगायी जाती हैं।    वर्ष 1917 में रटौल के कृषक आफाक फरीदी ने अपने आम के बाग में एक विशेष प्रकार का आम का पौधा देखा, जिसका फल बहुत ही सुन्दर एवं गाजर जैसी सुगन्ध होने के कारण इन्होंने इसको अपने गांव के नाम से ही रटौल नाम दे दिया था तथा इसका एक अलग बाग भी तैयार किया था।   उनकी लगन व मेहनत आजादी के बाद रंग लाई,जो भारत ही नहींं विदेश में भी काफी सराही गई। स्व इंदिरा गाँधी, राजीव गाँधी, चौ अजित सिंह भी इस आम के मुरीद रह चुके हैं।यह रटौल आम लगभग 150 से 200 ग्राम औसत में मध्यम आकार का होता है, खूबी यह कि, इसमें रेशे जरा भी नहीं, भरपूर रस का स्वाद तथा नारंगी रंग का आकर्षण, सबकी पहली पसंद बन जाता है। रटौल आम बहुत मीठा और बेहद ही स्वादिष्ट फल है, जिसके कारण लोग इसे खाना पसन्द करते हैं।   जिला उद्यान अधिकारी ने बताया कि, वर्ष 2022 में रटौल आम को जीआई टैग संख्या-206 प्रदान की गयी थी। जीआई टैग मिलने के कारण इसकी पहचान राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा का विषय बना हुआ हैं। इस बार रटौल में जनपद स्तरीय आम महोत्सव का आयोजन 6 जुलाई को किया जा रहा है, जिससे आम बागान मालिकों में काफी उत्साह और उम्मीद जगी है।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jul 5, 2024

प्रशिक्षण में आशाओं ने सीखी नवजात शिशु की देशभाल, जच्चाओं को देंगी जरूरी जानकारी

खेकड़ा,05 जुलाई 2024 (यूटीएन)। आशा कार्यकर्ता अब छोटे बच्चों की गृह आधारित देखभाल के लिए बच्चे की मां को प्रशिक्षित करेंगी, इसके लिए उन्हें सीएचसी पर प्रशिक्षण दिया गया। गुरुवार को सीएचसी अधीक्षक डा मसूद अनवर ने आशा कार्यकर्त्रियों के प्रशिक्षण का शुभारम्भ किया।   उन्होने कहा कि ,आशा कार्यकर्त्री स्वास्थ्य विभाग की महत्वपूर्ण इकाई हैं। अपने क्षेत्र की गर्भवती महिलाओं को प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत सीएचसी पर निर्धारित तिथियों में प्रशिक्षण को लाएं और प्रसव भी सीएचसी पर ही कराएं। सीएचसी पर यदि कोई असुविधा होती है ,तो उनको फोन करें, समाधान किया जाएगा।    प्रशिक्षक डा मीना ने बताया कि आशा अब प्रसव पश्चात् देखभाल, माता का स्वास्थ्य, स्तनपान, बच्चे की आवश्यक देखभाल, परिवार नियोजन, बच्चों में बीमारी की देखभाल, बीमारी के लक्षणों की शीघ्र पहचान 15 माह तक करेंगी। गृह भ्रमण की योजना, स्वच्छता, व्यक्तिगत साफ-सफाई, बच्चों को दिए जाने वाले सही पोषण, ऊपरी आहार, टीकाकरण, बच्चे की वृद्धि की निगरानी व मासिक रिपोर्टिंग भी तैयार करें। प्रशिक्षण में बीसीपीएम शशि चौधरी, स्वास्थ्य अधिकारी रहीसुद्दीन, सविता देवी, एलएचवी कुसुम ने सहयोग दिया।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jul 5, 2024

शोहदे कसते हैं छात्राओं पर फब्तियां ,कालेज की छुट्टी के समय पुलिस गश्त बढाने की मांग

खेकड़ा,05 जुलाई 2024 (यूटीएन)। स्कूल कॉलेज के खुलते ही कस्बे में जैन कॉलेज रोड पर असामाजिक तत्वों का जमावड़ा लगने लगा है। वे छात्राओं पर फब्तियां भी कसते हैं। स्कूलों व कॉलेज प्रशासन ने कोतवाली प्रभारी से असामाजिक तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है।   1 जुलाई से कस्बे में सभी स्कूल कॉलेज खुल गये हैं। छात्र-छात्राएं उनमें पढ़ने के लिए जाने लगे हैं। जैन कॉलेज रोड पर कई सरकारी व प्राइवेट  स्कूल है। सभी में छात्राएं भी बड़ी संख्या में पढ रही हैं। इन स्कूल और कालेजों के प्रबंधक व प्रधानाचार्यो ने बताया कि , अवकाश के समय मार्ग पर जगह जगह असामाजिक तत्व खड़े हो रहे हैं।   छात्राओं पर फब्तियां भी कसते हैं, जिससे छात्राएं डरी सहमी व स्वयं को असुरक्षित सा महसूस कर रही हैं। उन्होंने कोतवाली प्रभारी से अवकाश के समय भी मार्ग पर बाइक पुलिस व महिला कांस्टेबलों की गश्त की व्यवस्था करने और असामाजिक तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है। कोतवाली प्रभारी ने उन्हें असामाजिक तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया है।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jul 5, 2024

पूर्वोत्तर में सतत विकास और समावेशी विकास की दिशा में सीआईआई का प्रयास

नई दिल्ली, 05 जुलाई  2024 (यूटीएन)। विदेश और कपड़ा राज्य मंत्री पबित्रा मार्गेरिटा ने इस बात पर जोर दिया कि सीएसआर न केवल एक नैतिक अनिवार्यता है, बल्कि पूर्वोत्तर क्षेत्र में सतत विकास और समावेशी विकास का एक महत्वपूर्ण चालक भी है। उन्होंने यह वक्तव्य सीआईआई नॉर्थ ईस्ट सीएसआर कॉन्क्लेव के समापन सत्र में दिया, जो एक दो दिवसीय पहल है, जिसमें क्षेत्र में सामाजिक-आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिए व्यवसाय, सरकार, नागरिक समाज और गैर-सरकारी संगठन एक साथ आए।   मंत्री ने स्थानीय समुदायों, विशेष रूप से हथकरघा और कपड़ा क्षेत्र में सतत आजीविका के अवसरों को बढ़ावा देने में सीएसआर की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि लगभग 27.83 लाख हथकरघा परिवार बुनाई और संबद्ध गतिविधियों में लगे हुए हैं, जिनमें से 87% ग्रामीण क्षेत्रों में और शेष 13% शहरी क्षेत्रों में स्थित हैं। पूर्वोत्तर क्षेत्र में देश के कुल चालू हथकरघों का लगभग 65.2% हिस्सा है, जिसमें असम हथकरघा श्रमिकों की संख्या में सबसे आगे है। इस क्षेत्र को समर्थन देकर, बड़ी संख्या में लोगों की सामाजिक-आर्थिक स्थितियों में सुधार करना संभव है। उन्होंने क्षेत्र में हथकरघा क्षेत्र को समर्थन देने के लिए सीएसआर निधि की वकालत की, क्योंकि उत्तर पूर्व कपड़ा क्षेत्र में कार्यबल का 50% योगदान देता है।   मार्गेरिटा ने कॉरपोरेट इंडिया को राज्य की विशिष्ट आवश्यकताओं के अनुरूप दीर्घकालिक सीएसआर विज़न विकसित करने और अल्पकालिक आपदा राहत और पुनर्वास सहायता प्रदान करने के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने निगमों को स्थानीय गैर सरकारी संगठनों के साथ साझेदारी करने के लिए प्रोत्साहित किया ताकि स्थायी प्रभाव पैदा किया जा सके और क्षेत्र के विकास में योगदान दिया जा सके। इससे पहले, सीआईआई नॉर्थ ईस्ट काउंसिल के अध्यक्ष और अमृत सीमेंट्स लिमिटेड के प्रबंध निदेशक श्री प्रदीप बागला ने अपने स्वागत भाषण में कहा कि सीआईआई ने लगातार उत्तर पूर्वी क्षेत्र के रणनीतिक महत्व पर जोर दिया है, जहां प्रत्येक विकास परियोजना सीधे हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ी हुई है।    नॉर्थ ईस्ट सीएसआर कनेक्ट एक परिवर्तनकारी परियोजना है जिसे सीआईआई अगले 4-6 वर्षों में इस क्षेत्र के लिए शुरू कर रहा है। उन्होंने कहा कि सीआईआई क्षेत्र की विकास यात्रा को आगे बढ़ाने के लिए सरकार के साथ मिलकर काम करना चाहेगा। सीआईआई नॉर्थ ईस्ट सीएसआर कॉन्क्लेव ने क्षेत्र के सामाजिक-आर्थिक विकास में प्रभावशाली परियोजनाओं को प्रदर्शित किया, जो ज्ञान साझा करने, नवीन विचारों के आदान-प्रदान और उभरते सीएसआर रुझानों की जानकारी के लिए एक मंच प्रदान करता है।   सत्रह गैर सरकारी संगठनों ने कॉर्पोरेट समर्थन और सहयोग को आकर्षित करने के लिए अपनी पहल प्रस्तुत की, जबकि 100 से अधिक गैर सरकारी संगठनों ने संभावित भागीदारी के लिए 80 से अधिक कॉर्पोरेट्स से संपर्क किया। उद्घाटन सत्र के दौरान राज्य मंत्री द्वारा एक संग्रह जारी किया गया, जिसमें क्षेत्र में सफल सीएसआर पहलों पर प्रकाश डाला गया। इसके अतिरिक्त, सामाजिक विकास परियोजनाओं को प्रदर्शित करने और क्षेत्र की विकास यात्रा की झलक प्रदान करने के लिए एक प्रदर्शनी लगाई गई।   सीआईआई नॉर्थ ईस्ट सीएसआर कॉन्क्लेव सतत विकास और समावेशी विकास को आगे बढ़ाने में व्यवसायों, सरकार, नागरिक समाज और गैर सरकारी संगठनों के बीच सहयोग की शक्ति का एक प्रमाण है। इस कार्यक्रम ने भविष्य की पहलों के लिए एक मिसाल कायम की है जो उत्तर पूर्व क्षेत्र के लोगों के जीवन में सार्थक बदलाव ला सकती है।   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jul 5, 2024

कार्डियोलॉजिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया ने डिस्लिपिडेमिया प्रबंधन के लिए दिशानिर्देश जारी किए

नई दिल्ली, 05 जुलाई  2024 (यूटीएन)। एक ऐतिहासिक पहल करते हुए कार्डियोलॉजिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया सीएसआई ने डिस्लिपिडेमिया प्रबंधन के लिए भारत में पहली बार दिशानिर्देश जारी किए हैं। यह महत्वपूर्ण पहल देश भर में डिस्लिपिडेमिया के प्रसार में अद्वितीय चुनौतियों और विविधताओं को संबोधित करने में एक मील का पत्थर साबित होगा। कुल कोलेस्ट्रॉल का अधिक स्तर, एलडीएल-कोलेस्ट्रॉल खराब कोलेस्ट्रॉल का बढा होना, उच्च ट्राइग्लिसराइड्स और कम एचडीएल-कोलेस्ट्रॉल अच्छा कोलेस्ट्रॉल की विशेषता वाला डिस्लिपिडेमिया, दिल के दौरे, स्ट्रोक और परिधीय धमनी रोग जैसे हृदय रोगों के लिए एक महत्वपूर्ण जोखिम कारक है।   भारत में डिस्लिपिडेमिया की व्यापकता चिंताजनक रूप से अधिक है, जिसमें महत्वपूर्ण अंतरराज्यीय विविधताएं और विशेष रूप से शहरी क्षेत्रों में उच्च दर है। डिस्लिपिडेमिया की गंभीरता के बारे में बोलते हुए, कार्डियोलॉजिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया सीएसआई के अध्यक्ष डॉ. प्रताप चंद्र रथ ने कहा, “उच्च रक्तचाप और मधुमेह के विपरीत, डिस्लिपिडेमिया एक साइलेंट किलर है, जिसमें अक्सर लक्षण दिखाई नहीं देते हैं। उन्होंने सक्रिय प्रबंधन और शीघ्र पता लगाने के महत्व पर जोर दिया। नए दिशानिर्देश पारंपरिक खाली पेट से हटकर, जोखिम के आकलन और उपचार के लिए बिना खाली पेट लिपिड को मापने की सलाह देते हैं।   बढ़ा हुआ एलडीएल-सी प्राथमिक लक्ष्य बना हुआ है, लेकिन उच्च ट्राइग्लिसराइड्स 150 मिलीग्राम डीएल वाले मरीजों के लिए, गैर-एचडीएल कोलेस्ट्रॉल केंद्रबिंदु है। डॉ. दुर्जति प्रसाद सिन्हा, मा. सीएसआई के महासचिव ने प्रकाश डालते हुए कहा, "बिना उपवास या खाली पेट लिपिड माप परीक्षण को अधिक सुविधाजनक और सुलभ बनाता है, जिससे अधिक लोगों को परीक्षण और उपचार के लिए प्रोत्साहित किया जा सकता है। अगर हृदय रोग या हाइपरकोलेस्ट्रोलेमिया का पारिवारिक इतिहास है तो दिशानिर्देश 18 साल की उम्र में या उससे पहले ही लिपिड प्रोफ़ाइल की सलाह देते हैं। सामान्य आबादी और कम जोखिम वाले व्यक्तियों को एलडीएल-सी का स्तर 100 मिलीग्राम डीएल से नीचे और गैर-एचडीएल-सी का स्तर 130 मिलीग्राम डीएल से नीचे बनाए रखना चाहिए। उच्च जोखिम वाले व्यक्तियों, जिन्हें मधुमेह या उच्च रक्तचाप है, उन्हें एलडीएल-सी को 70 मिलीग्राम डीएल से नीचे और गैर-एचडीएल को 100 मिलीग्राम डीएल से नीचे रखने का लक्ष्य रखना चाहिए।   सर गंगाराम अस्पताल में कार्डियोलॉजी विभाग के अध्यक्ष और लिपिड दिशानिर्देशों के अध्यक्ष, डॉ. जे. पी. एस. साहने ने बताया, "बहुत अधिक जोखिम वाले मरीजों के लिए, जिनमें दिल का दौरा, एनजाइना, स्ट्रोक या क्रोनिक किडनी रोग का इतिहास शामिल है, कड़े लक्ष्य सुझाए गए हैं। इन मरीजों को एलडीएल-सी स्तर 55 मिलीग्राम डीएल से नीचे या गैर-एचडीएल स्तर 85 मिलीग्राम डीएल से नीचे रखने का लक्ष्य रखना चाहिए। डिस्लिपिडेमिया प्रबंधन की आधारशिला के रूप में जीवनशैली में बदलाव पर जोर दिया जाता है। भारत में आहार संबंधी आदतों को देखते हुए, चीनी और कार्बोहाइड्रेट का सेवन कम करने की सिफारिश की जाती है, क्योंकि ये कम मात्रा में वसा का  सेवन करने की तुलना में ब्लॉकेज में अधिक योगदान देते हैं। नियमित व्यायाम और योग, जो हृदय को सुरक्षा प्रदान करते हैं और सांस्कृतिक रूप से प्रासंगिक भी है, की सिफारिश की जाती है।   डॉ. एस. रामाकृष्णन, एम्स में कार्डियोलॉजी के प्रोफेसर ने कहा, "उच्च एलडीएल-सी और गैर-एचडीएल-सी को स्टैटिन और मुंह से खाई जाने वाली गैर-स्टेटिन दवाओं के संयोजन से नियंत्रित किया जा सकता है। यदि लक्ष्य प्राप्त नहीं होते हैं, तो पीसीएसके9 अवरोधक या इनक्लिसिरन जैसी इंजेक्टेबल लिपिड-कम करने वाली दवाओं की सिफारिश की जाती है। उच्च ट्राइग्लिसराइड्स 150 मिलीग्राम डीएल वाले मरीजों के लिए, गैर-एचडीएल कोलेस्ट्रॉल लक्ष्य है। जीवनशैली में बदलाव, जैसे नियमित व्यायाम, शराब और तंबाकू छोड़ना और चीनी व कार्बोहाइड्रेट का सेवन कम करना महत्वपूर्ण हैं। हृदय रोग, स्ट्रोक या मधुमेह के मरीजों में स्टैटिन, गैर-स्टेटिन दवाएं और मछली के तेल ईपीए की सिफारिश की जाती है। 500 मिलीग्राम डीएल से ऊपर ट्राइग्लिसराइड्स के स्तर के लिए फेनोफाइब्रेट, साराग्लिटाज़ोर और मछली के तेल के इस्तेमाल की आवश्यकता होती है।   सर गंगा राम अस्पताल के वरिष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ और लिपिड दिशानिर्देशों में सहायक की भूमिका निभाने वाले डॉ. अश्वनी मेहता ने जोर देकर कहा, "डिस्लिपिडेमिया के आनुवंशिक कारण, जैसे पारिवारिक हाइपरकोलेस्ट्रोलेमिया, विश्व के अन्य हिस्सों की तुलना में भारत में अधिक सामान्य हैं। परिवार के सदस्यों की कैस्केड स्क्रीनिंग के माध्यम से इन मामलों की जल्द पहचान करना और उनका इलाज करना आवश्यक है। इसके अलावा, दिशानिर्देश कम से कम एक बार लिपोप्रोटीन (ए) के स्तर का मूल्यांकन करने की सलाह देते हैं, क्योंकि ऊंचा स्तर 50 मिलीग्राम डीएल हृदय रोग से जुड़ा होता है। उन्नत लिपोप्रोटीन (ए) का प्रचलन पश्चिमी दुनिया (15-20 प्रतिशत) की तुलना में भारत में अधिक 25 प्रतिशत है।   सीएसआई के नए दिशानिर्देश स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं को भारत में कोलेस्ट्रॉल को बेहतर ढंग से प्रबंधित करने और हृदय रोग से लड़ने के लिए सशक्त बनाते हैं, जिससे अंततः सभी के लिए स्वस्थ जीवन को बढ़ावा मिलता है। लिपिड के वांछनीय स्तर निम्नलिखित हैं जिनका देश की सभी जैव रसायन प्रयोगशालाओं द्वारा समान रूप से पालन किया जाना चाहिए। किसी को जोखिम श्रेणी के आधार पर लिपिड लक्ष्यों की तलाश करनी चाहिए। ऐसा मरीजों के बीच भ्रम की स्थिति से बचने के लिए किया गया है।   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jul 5, 2024

अभिनेता हर्षवर्द्धन राणे व मिस इंडिया वर्ल्ड नंदनी गुप्ता ने इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट के 'लकी ड्रा' के विजेताओं को पुरस्कार बांटे

नई दिल्ली, 04 जुलाई  2024 (यूटीएन)। भारत का अग्रणी इलेक्ट्रॉनिक्स रिटेलर इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट, जो ग्राहक संबंधों और संतुष्टि की अपनी विरासत के लिए जाना जाता है, हंड्रेड परसेंट ग्राहक संतुष्टि हासिल करने की दिशा में दिल्ली एनसीआर के लोगों का दिल जीत लिया है। इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट ने राजौरी गार्डन स्थित विशाल स्टोर में अपने प्रसिद्ध और सर्वाधिक प्रतीक्षित 50 लाख रुपये के नकद पुरस्कार के लकी ड्रा की मेजबानी की।    अभिनेता हर्षवर्द्धन राणे के साथ मिस इंडिया वर्ल्ड नंदनी गुप्ता ने दस दस लाख रुपये के पुरस्कार जीतनेवाले पांचों विजेताओं को नकद पुरस्कार के साथ शुभकामना दी। साथ ही उन्होंने ग्राहकों को भी इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट में खरीदारी जारी रखने और रोमांचक पुरस्कार जीतते रहने के लिए प्रोत्साहित किया।   बता दें कि इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट के दिल्ली-एनसीआर के राजौरी गार्डन, पंजाबी बाग, पश्चिम विहार, पटेल नगर, लक्ष्मी नगर, प्रीत विहार, द्वारका, इंदिरापुरम, करोल बाग, नरेला, फरीदाबाद में फैले हुए हैं। उत्तम नगर और नोएडा सेक्टर 18 में 13 मेगा स्टोर हैं। इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट स्टोर आसान ईएमआई विकल्पों के साथ सर्वोत्तम कीमतों पर एलईडी टीवी, घरेलू और रसोई उपकरणों, मोबाइल, लैपटॉप, गैजेट्स, एक्सेसरीज और बहुत कुछ की व्यापक रेंज के साथ समृद्ध खुदरा अनुभव प्रदान करता है।   इस अवसर पर इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट के सीईओ करण बजाज ने कहा कि'इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट ने दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में अपने लॉन्च के बहुत ही कम समय में यह सफलता हासिल की है। बम्पर ड्रॉ एक ऐसा तरीका है, जिसके द्वारा ग्राहक इलेक्ट्रॉनिक्स मार्ट में वापसी करने का प्रयास करते हैं। इसके लिए हम अपने ग्राहकों के आभारी हैं। हम चाहते हैं कि ग्राहकों के साथ हमारा रिश्ता और अधिक ऊंचाइयों तक पहुंचे।   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jul 4, 2024

शख्स ने की पीएम मोदी का चुनाव रद्द करने की अपील, हाई कोर्ट बोला- 'आपको इलाज की जरूरत

नई दिल्ली, 04 जुलाई  2024 (यूटीएन)। दिल्ली हाई कोर्ट ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को लोकसभा से बर्खास्त करने संबंधी याचिका बुधवार को खारिज करते हुए कहा कि इसमें लगाए गए आरोप मनगढ़ंत कल्पना पर आधारित हैं. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की खंडपीठ ने कहा कि वह इस मामले में एकल न्यायाधीश के फैसले से सहमत है. सिंगल न्यायाधीश ने पहले ही याचिका खारिज कर दी थी.    पीठ ने अपीलकर्ता से कहा कि आप ठीक तो हैं. उसने कहा कि अपीलकर्ता को चिकित्सा सहायता की जरूरत है. पीठ ने संबंधित पुलिस थाने के प्रभारी, उप-मंडलीय मजिस्ट्रेट और जिला मजिस्ट्रेट को चिकित्सा स्वास्थ्य अधिनियम के प्रावधानों के मद्देनजर उसपर याचिकाकर्ता पर नजर रखने का निर्देश दिया.   *कैप्टन दीपक कुमार ने दायर की थी याचिका* कैप्टन दीपक कुमार की ओर से दायर याचिका में आरोप लगाया गया है कि मोदी और उनके सहयोगियों ने 2018 में एअर इंडिया की उस उड़ान की दुर्घटना का षड्यंत्र रचकर राष्ट्रीय सुरक्षा को अस्थिर करने का प्रयास किया, जिसके पायलट याचिकाकर्ता खुद थे. कुमार ने यह आरोप भी लगाया कि मोदी ने झूठी शपथ ली है जो निर्वाचन अधिकारी को नामांकन पत्र सौंपे जाने के बाद होनी चाहिए थी.   *गृह मंत्री शाह और ज्योतिरादित्य सिंधिया पर लगाया आरोप* याचिकाकर्ता ने अदालत के समक्ष दलील देते हुए आरोप लगाया कि मोदी, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया राष्ट्र विरोधी गतिविधियों में लिप्त हैं और उन्हें लोकसभा से बर्खास्त किया जाना चाहिए. याचिका खारिज करते हुए पीठ ने कहा, ‘‘इस अपील में सभी आरोप अपीलकर्ता की मनगढ़ंत कल्पना पर आधारित हैं और इसमें कोई प्रमाण नहीं हैं.   *पीठ ने याचिका को लेकर लगाई फटकार* पीठ ने कहा, ‘‘आप ठीक तो हैं? आपकी अर्जी अधूरी है. यह एक विषय से दूसरे विषय की ओर जा रहा है. यह झूठी शपथ लेने के आरोप से इस दिशा में जा रहा है कि आप तीन लोगों को चुनाव लड़ने से रोकने की मांग कर रहे हैं और कह रहे हैं कि उन्होंने उस विमान की दुर्घटना कराई जो आप उड़ा रहे थे. आप अपनी बेटी के लापता होने से लेकर इस बात के आरोप लगा रहे हैं कि कोई पूर्व प्रधान न्यायाधीश आपकी हत्या की कोशिश कर रहे थे. आप ठीक तो हैं? कोई इंसान इस याचिका को नहीं समझ सकता.   *याचिकाकर्ता ने क्या कहा?* इस पर याचिकाकर्ता ने कहा, ‘‘हां, मैं ठीक हूं श्रीमान, याचिका बहुत स्पष्ट है. हां मेरी बेटी का अपहरण हुआ और इसकी पुलिस रिपोर्ट है. मेरा भी अपहरण किया गया था और थाने ले जाया गया, जहां उन्होंने मुझसे सौदेबाजी की कि अगर मैं मुंह बंद रखूंगा तो वे मेरी बेटी को मुझे वापस कर देंगे.   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jul 4, 2024

सीआईआई ने पूर्वोत्तर में सामाजिक विकास में कॉर्पोरेट निवेश को बढ़ावा देने के लिए सीएसआर कनेक्ट लॉन्च किया

नई दिल्ली, 04 जुलाई  2024 (यूटीएन)। दो दिवसीय नॉर्थ ईस्ट सीएसआर कनेक्ट - अनलॉकिंग नॉर्थ ईस्ट की क्षमता, 3-4 जुलाई 2024 को नई दिल्ली में भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) द्वारा लॉन्च किया गया है। मुख्य अतिथि, डॉ सुकांत मजूमदार, राज्य मंत्री, पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा उद्घाटन किया गया, इस पहल का उद्देश्य सरकार के साथ साझेदारी में प्रभावशाली पहलों के माध्यम से कॉर्पोरेट क्षेत्र और पूर्वोत्तर के सामाजिक-आर्थिक विकास के बीच की खाई को पाटना है।   अपने संबोधन में डॉ सुकांत मजूमदार ने इस बात पर प्रकाश डाला कि पूर्वोत्तर के लिए शुरू की गई 10,000 करोड़ रुपये की उन्नति योजना इस क्षेत्र में निवेश लाएगी। उन्होंने माननीय प्रधान मंत्री के दूरदर्शी नेतृत्व में भारत के पूर्वोत्तर क्षेत्र के आश्चर्यजनक कायापलट की सराहना की। केंद्रीय मंत्रालय न केवल अपनी चल रही योजनाओं के माध्यम से, बल्कि पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए समर्पित योजनाओं के माध्यम से भी अपने सकल बजटीय समर्थन का 10% उत्तर पूर्वी क्षेत्र में खर्च कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह क्षेत्र के प्रति फोकस को दर्शाता है। बांग्लादेश के साथ द्विपक्षीय सहयोग बढ़ाने पर भारत सरकार के फोकस ने चटगांव बंदरगाह का उपयोग करके इस क्षेत्र में उद्योग के लिए व्यापार करने के कई रास्ते खोल दिए हैं।   उद्योग को इस व्यापार गलियारे का लाभ उठाना चाहिए जो दक्षिण पूर्व एशिया के प्रवेश द्वार के रूप में एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। उन्होंने क्षेत्र के रणनीतिक लाभ पर प्रकाश डाला और कहा कि बांग्लादेश के साथ बेहतर द्विपक्षीय सहयोग और चटगांव बंदरगाह के खुलने से उद्योग के लिए व्यापार के लिए प्रवेश द्वार का उपयोग करने के कई रास्ते खुल गए हैं। इससे क्षेत्र में अधिक निवेश आएगा और सामाजिक-विकास पर अधिक गतिविधियाँ होंगी। 8 साल की अवधि (2014-15 से 2022-23) में, क्षेत्र 6.77% की CAGR से बढ़ रहा है जो राष्ट्रीय औसत 5.43% से अधिक है। इस क्षेत्र ने राष्ट्रीय सकल घरेलू उत्पाद (स्थिर मूल्यों पर 2022-23) में 2.95% का योगदान दिया।   चंचल कुमार, आईएएस, सचिव, उत्तर पूर्वी क्षेत्र विकास मंत्रालय, भारत सरकार ने कहा कि एनईआर के लिए अतिरिक्त संसाधन जुटाने की आवश्यकता है और निजी वित्त पोषण के प्रवाह से क्षेत्र के विकास में तेजी आने की संभावना है। एनईआर में सीएसआर योगदान सीमित है और इसे नीति स्तर पर संबोधित करने की आवश्यकता है और इसलिए इस तरह के मंचों की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को सीएसआर निवेश आकर्षित करने के लिए प्रत्येक राज्य के लिए निवेश योग्य परियोजनाओं का भंडार विकसित करना चाहिए।   इससे पहले, अपने स्वागत भाषण में, सीआईआई के उपाध्यक्ष और आर मुकुंदन ने कहा कि पिछले 10 वर्षों में, सीएसआर की यात्रा 2 प्रतिशत अनुपालन उन्मुख दृष्टिकोण से पारदर्शिता और प्रभाव उन्मुखीकरण पर बढ़ते ध्यान की ओर बढ़ी है। उन्होंने उम्मीद जताई कि 2 दिवसीय सीएसआर कॉन्क्लेव सीएसआर यात्रा पर प्रकाश डालेगा और कुछ नए विचार और दृष्टिकोण जुटाएगा जो उत्तर पूर्व में एक प्रभावशाली सीएसआर विजन को परिभाषित करने में हम सभी को प्रेरित करेगा। इस पहल में भारत सरकार के कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय के संयुक्त सचिव, आईएएस इंद्र दीप सिंह धारीवाल और सीआईआई नॉर्थ ईस्ट काउंसिल के अध्यक्ष प्रदीप बागला भी शामिल हुए।   दो दिवसीय पहल में उत्तर पूर्व के सामाजिक-आर्थिक विकास में प्रभावशाली परियोजनाओं को प्रदर्शित किया गया, जो व्यवसायों, सरकार, नागरिक समाज और गैर सरकारी संगठनों के लिए एक सहयोगी मंच प्रदान करता है। यह सर्वोत्तम प्रथाओं, नवीन विचारों और उभरते सीएसआर रुझानों के आदान-प्रदान की सुविधा प्रदान करेगा। उत्तर पूर्व राज्य सरकारों और केंद्रीय मंत्रालयों की भागीदारी के साथ, 100 से अधिक गैर सरकारी संगठनों को सहयोग और साझेदारी के लिए 80 से अधिक कॉर्पोरेट्स से जोड़ा गया। उद्घाटन सत्र के दौरान राज्य मंत्री द्वारा एक संग्रह जारी किया गया। सामाजिक विकास परियोजनाओं को प्रदर्शित करने के लिए एक प्रदर्शनी भी लगाई गई।   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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