Health

28 को स्वतंत्रता सेनानी अर्जुन सिंह की पुण्यतिथि पर नेत्र ऑपरेशन, श्रवण यंत्र व चश्मे वितरण शिविर

बागपत, 25 जून 2024 (यूटीएन)। लायंस क्लब अग्रवाल मंडी डिस्ट्रिक्ट 321 सी 1, दृष्टिदूत फाउंडेशन, अखिल भारतीय अग्रवाल सम्मेलन, इन्डियन रेडक्रॉस सोसाईटी बागपत व इंडियन गुडविल सोसाइटी बागपत के संयुक्त तत्वाधान में प्रसिद्ध स्वतन्त्रता सेनानी स्व लाला अर्जुन सिंह की 32 वीं पुण्य तिथि 28 जून को अग्रवाल धर्मशाला टटीरी में निशुल्क नेत्र जांच एवं आईओएल लेंस युक्त मोतियाबिंद ऑपरेशन एवं नंबर के चश्मे निशुल्क वितरित किए जाएंगे। शिविर मे कम सुनाई देने वाले रोगियों को जांच के बाद श्रवण यंत्र भी वितरित किए जाएंगे ।    इस संबंध में रोगियों को आगाह किया गया है कि, वे आधार कार्ड की कॉपी साथ लाएं। शिविर के मुख्य संयोजक व दृष्टिदूत फाउंडेशन के अध्यक्ष अभिमन्यु गुप्ता ने बताया कि, शिविर में मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश सरकार के राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार कपिल देव अग्रवाल उपस्थित रहेंगे तथा अखिल भारतीय अग्रवाल सम्मेलन के राष्ट्रीय संगठन मंत्री प्रमोद मित्तल पूर्व मंडल अध्यक्ष ला आलोक भटनागर, प्रसिद्ध समाजसेवी व आर्य समाज सूरजमल विहार दिल्ली के प्रधान अशोक गुप्ता उद्घाटन करेंगे। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए सचिव ला पंकज गुप्ता ला डॉक्टर कमला अग्रवाल ला हंसराज गुप्ता, मनोज मित्तल विभोर जिंदल अंकित जिंदल नरेश अग्रवाल आदि जन सम्पर्क में जुटे हैं।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jun 25, 2024

अपनी दैनिक दिनचर्या में योग के अभ्यास को अपने जीवन का एक अभिन्न भाग बनाए : नड्डा

नई दिल्ली, 22 जून 2024 (यूटीएन)। दिल्ली भाजपा ने आज 10वें अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर दिल्ली के विभिन्न स्थानों पर योग कार्यक्रमों का आयोजन किया। जगत प्रकाश नड्डा, वीरेंद्र सचदेवा,हर्ष मल्होत्रा ओम प्रकाश शर्मा और वरिष्ठ नेता अरविंदर सिंह लवली सहित राष्ट्रीय मीडिया सह प्रमुख संजय मयुख, प्रदेश मीडिया प्रमुख प्रवीण शंकर कपूर ने आज प्रातः  यमुना स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में आयोजित विशाल योग दिवस समारोह में सम्मिलित होकर योग किया।    इस अवसर पर मीडिया से बात करते हुए जगत प्रकाश नड्डा ने कहा कि आज देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने योगा की महत्ता को ना सिर्फ देश भर में बल्कि पूरे विश्व में मान्यता दिलाई है। यह योग की विधा जो हमारे देश तक सीमित थी उसे आज पूरा विश्व ने अपनाया है। आज हम 10 वां योग दिवस मना रहे हैं।   नड्डा ने सभी से आवाहन किया कि अपनी दैनिक दिनचर्या में योग के अभ्यास को अपने जीवन का एक अभिन्न भाग बनाए ताकि हम स्वास्थ्य रहे और हमारे जीवन में शारीरिक, मानसिक और अध्यात्मिक के समावेश से हमारा जीवन सुचारु रूप से आगे बढ़ सके। योग से जहां हमारा शरीर उत्तम रहता है वही हमारी आंतरिक शक्ति भी जागृत होती है।   दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेन्द्र सचदेवा ने कहा कि आईये संकल्प लें योग करें निरोग रहें। उन्होंने याद दिलाया कि जब संयुक्त राष्ट्र संघ में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में योग होते देखा गया तब हर भारतीय गौरवांवित हुआ था और हमें गर्व है कि आज भारत को विश्व योग गुरू के रूप में देख रहा है।   संगठन महामंत्री पवन राणा ने शास्त्री पार्क दिल्ली गेट में, सांसद मनोज तिवारी ने मल्टीपरपस हाल दिल्ली विश्वविद्यालय में, रामवीर सिंह बिधूड़ी ने द्वारका राज नगर पार्क दिल्ली में, योगेंद्र चंदोलिया ने रोहिणी स्पोर्ट्स कंपलेक्स सेक्टर 14 में, सुश्री बांसुरी स्वराज आरएमएल अस्पताल कंपाउंड में और प्रवीन खंडेलवाल लाल किले पर आयुष मंत्रालय के कार्यक्रम में शामिल हुए।    विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jun 22, 2024

दिल्ली एम्स अस्पताल में 3000 लोगों ने एक साथ किया योग

नई दिल्ली, 22 जून 2024 (यूटीएन)। अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के मौके पर दिल्ली के एम्स अस्पताल में योगा कार्यक्रम आयोजित किया गया. इस मौके पर वाणिज्य राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल ने भी यहां शिरकत की. एम्स अस्पताल में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के मौके पर लगभग 3000 लोगों ने एक साथ योगासन किया. योग दिवस के मौके पर एम्स अस्पताल की फैकल्टी,डॉक्टर्स,नर्स, सुरक्षा गार्ड और अस्पताल में आए मरीजों ने भी इस योग कार्यक्रम में हिस्सा लिया.   बता दें कि एम्स अस्पताल में हर साल अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का आयोजन किया जाता है और काफी संख्या में लोग इसमें हिस्सा लेते है एक तरफ जहां दिल्ली में अभी तक कई दिनों से भीषण गर्मी का सितम जारी था, वहीं आज मौसम में बदलाव होने से लोगों को गर्मी से थोड़ी राहत जरूरी मिली.   सबसे खास बात ये है कि अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर दिल्ली का मौसम काफी सुहावना रहा. एम्स अस्पताल की मीडिया सेल की इंचार्ज प्रोफेसर डॉक्टर रीमा दादा ने मीडिया से बातचीत में बताया कि आज दसवें अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के मौके पर एम्स अस्पताल में योग का आयोजन किया गया, लोगों में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस को लेकर काफी ज्यादा उत्साह दिखा. करीब ढाई से 3000 लोगों ने इसमें हिस्सा लिया.    एम्स में आयोजित योग दिवस के मौके पर राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल, हेल्थ सेक्रेटरी और एम्स अस्पताल के डायरेक्टर एम श्रीनिवास, डॉक्टर नर्स सिक्योरिटी गार्ड और तो और मरीजों ने भी इसमें भाग लिया. एम्स में तो योग थेरेपी के लिए एक केंद्र भी है जहां डॉक्टर योग के ऊपर रिसर्च करते रहते हैं और यह देखा गया है कि योग के माध्यम से हम बीमारियों से बच सकते हैं.    विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

Ujjwal Times News

Jun 22, 2024

एम्स की नेत्र विशेषज्ञ की डॉ. देवांग को मिला बड़ा सम्‍मान, काला मोतिया के इलाज पर की है रिसर्च

नई दिल्ली, 18 जून 2024 (यूटीएन)। ऑल इंडिया इंस्‍टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज नई दिल्‍ली के डॉ. आरपी सेंटर फॉर ऑप्‍थेल्मिक साइंसेज की प्रोफेसर एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. देवांग एंग्‍मो को एशिया पैसिफिक ग्‍लूकोमा सोसायटी की ओर से एपीजीएस यंग इन्‍वेस्टिगेटर अवॉर्ड 2024 से सम्‍मानित किया गया है. यह अवॉर्ड डॉ. देवांग को आंखों को अंधा बना देने वाली बीमारी ग्‍लूकोमा को लेकर पिछले 14 साल से की जा रहीं मल्‍टीपल सर्जिकल रिसर्च के लिए दिया गया है.   बता दें कि एम्‍स का आरपी सेंटर देश के सबसे अच्‍छे आंखों के अस्‍पताल कम रिसर्च सेंटर में से एक है जहां मरीजों के इलाज के साथ-साथ बीमारियों और उनके इलाज पर रिसर्च और स्‍टडीज लगातार जारी रहते हैं. इस सम्‍मान को हासिल करने वाली डॉ. देवांग बताती हैं कि भारत में ग्‍लूकोमा पर सर्जिकल रिसर्च और मेडिकल मैनेजमेंट में रिसर्च लगातार हो रहे हैं. भारत में सबसे कॉमन काला मोतिया एंगल क्‍लोजर ग्‍लूकोमा है. ग्‍लूकोमा के इलाज में काम आ रही नई तकनीक और नई-नई मशीनों पर किए गए सर्जिकल रिसर्च में ग्‍लूकोमा के अन्‍य कारणों का भी पता चल रहा है, जबकि कुछ साल पहले तक सिर्फ किताबों में लिखे कारणों को ही मान लिया जाता था.   इन रिसर्च का फायदा ये हुआ है कि अब अलग-अलग कारणों से ग्‍लूकोमा के शिकार हुए मरीजों में अलग-अलग सर्जरी करने का रास्‍ता मिल गया है. यही वजह है कि अब ग्‍लूकोमा का बेहतर इलाज मिल पा रहा है. डॉ. कहती हैं कि मेडिकेशन, लेजर और सर्जरी को लेकर हो रहीं रिसर्च मरीजों के लिए बहुत फायदेमंद होने जा रही हैं. पुरस्‍कार से सम्‍मानित होने पर डॉ. देवांग कहती हैं, ‘2010 से मैं ग्‍लूकोमा यानि काला मोतिया पर रिसर्च कर रही हूं. ये अभी तक की गईं रिसर्च को लेकर दिया गया है. इतना ही नहीं ग्‍लूकोमा को लेकर की जा रही जागरुकता भी इसमें शामिल है. लोगों को इस बीमारी से बचने और सही समय पर इलाज लेने के लिए प्रेरित करना भी इसमें शामिल हैं.   ग्‍लूकोमा एक इरिवर्सिवल ब्‍लाइंडनेस वाली बीमारी है. अगर यह एक बार बीमारी हो जाए तो इससे होने वाले नुकसान को ठीक करना असंभव है लेकिन दवाओं के माध्‍यम से आने वाले समय में होने वाले नुकसान को रोका जा सकता है. सफेद मोतियाबिंद के ऑपरेशन के बाद रोशनी वापस आ जाती है लेकिन काला मोतिया में ऐसा संभव नहीं हो पाता. यही वजह है कि भारत ही नहीं पूरी दुनिया में यह अंधेपन का सबसे बड़ा कारण है.   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jun 18, 2024

पिता बनने में दिक्‍कतें झेल रहे पुरुषों पर एम्स ने की स्‍टडी, योग से गूंजेगी किलकारीv

नई दिल्ली, 17 जून 2024 (यूटीएन)। योग के रूप में भारत के पास कितना अनमोल खजाना है, यह बात अब मॉडर्न साइंस भी मानने लगी है. ऑल इंडिया इंस्‍टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज नई दिल्‍ली में योग को लेकर हुई यह स्‍टडी इस बात की गवाह है कि योग हर मर्ज की दवा है. एम्‍स के गायनेकोलॉजी और एनोटॉमी विभाग ने किन्‍हीं कारणों से पिता नहीं बन पा रहे 239 पुरुषों पर किए रिसर्च और फिर उनमें से 60 लोगों को कराए गए योग के बाद ऐसा रिजल्‍ट देखने को मिला कि खुद डॉक्‍टर्स भी हैरान रह गए.   एम्‍स नई दिल्‍ली के एनाटॉमी विभाग में प्रोफेसर डॉ. रीमा दादा ने बताया कि आमतौर पर योग को लेकर लोगों की ये मानसिकता है कि मानसिक बीमारियों में योग असरदार है और फायदा पहुंचाता है लेकिन एम्‍स की हालिया स्‍टडी के नतीजे चौंकाने वाले हैं. योग करने से स्‍टडी में शामिल पुरुषों के स्‍पर्म के डीएनए की क्‍वालिटी में सुधार देखा गया है. स्‍टडी में शामिल योग इंटरवेंशन लेने वाले कुछ लोग जहां साधारण रूप से पिता बन पाने में सक्षम हुए वहीं जो लोग आईवीएफ की तरफ गए, उनमें भी सफलता की दर बढ़ गई.   *ऐसे शुरू हुई स्‍टडी*   डॉ. रीमा दादा ने बताया, ‘एम्‍स के गायनेकोलॉजी विभाग में कंसीव न कर पाने, बार-बार बच्‍चे गिरने या मिसकैरेज, पेट में ही भ्रूण के मर जाने की समस्‍या या आईवीएफ के लिए आने वाली फीमेल्‍स की सभी जांचें की गईं लेकिन महिलाओं में प्रेग्‍नेंसी, बच्‍चा बार बार गिरने या कंसीव न होने को लेकर कोई भी कमी सामने नहीं आई. लिहाजा इन केसेज को गायनी विभाग की एचओडी डॉ. नीना मल्‍होत्रा, डॉ. नीता सिंह और डॉ. वत्‍सला की ओर से हमारे विभाग में आगे की जांच के लिए भेजा गया.   ऐसे में सबसे पहले हमने 239 मेल्‍स पर स्‍टडी कर यह जांच की कि आखिर प्रेग्‍नेंसी और कंसीविंग में पिता का क्‍या रोल होता है. क्‍या इनका डीएनए खराब है, क्‍या इनके शुक्राणु का डीएनए नष्‍ट हो जाता है. क्‍या वजहें हैं कि उनकी पत्नियां कंसीव नहीं कर पा रही थीं और वे बाप नहीं बन पा रहे थे. इन सभी में स्‍पर्म फैक्‍टर एनालाइज किया गया. जिसमें इनके स्‍पर्म जीनोमिक इंटीग्रिटी, स्‍पर्म के डीएनए की क्‍वालिटी, जीन एक्‍सप्रेशन, टेलोमेयर की लंबाई, स्‍पर्म काउंट, तनाव आदि की स्‍टडी की गई.’   *60 लोगों को कराया योग*   डॉ. रीमा दादा बताती हैं, ‘239 मेल्‍स के स्‍पर्म, डीएनए और आरएनए की स्‍टडी के बाद हमने 60 लोगों को योग कराने के लिए चुना और लगातार 6 हफ्ते तक उन्‍हें योग कराया. इस दौरान रोजाना 2 घंटे का सेशन होता था जिसमें उन मेल्‍स की काउंसलिंग के अलावा योगासन, प्राणायाम और ध्‍यान क्रियाएं शामिल थीं. इन लोगों को सूर्य नमस्‍कार भी कराया गया. फिर 6 हफ्ते बाद हमने उन्‍हीं पैरामीटर के आधार पर देखा कि इन लोगों के स्‍पर्म की डीएनए क्‍वालिटी पहले से बेहतर हुई.   उनका आरएनए एक्‍सप्रेशन लेवल नॉर्मलाइज हुआ, डीएनए डैमेज कम हुआ, जीन के एक्‍सप्रेशंस में, टेलोमीयर लेंथ में भी सुधार आया. क्‍योंकि स्‍पर्म शरीर का एकमात्र ऐसा सेल है जिसमें अपने डीएनए को इंप्रूव करने या बचाने की क्षमता बहुत कम होती है, लेकिन योग से इसमें इंप्रूवमेंट देखा गया.   *कौन कौन से योग कराए गए*   डॉ. दादा कहती हैं कि इन लोगों को योगासनों के साथ ही प्राणायाम और ध्‍यान कराया गया. सूर्य नमस्‍कार कराया, त्रिकोण आसन, पेल्विक फ्लोर के लिए जरूरी योगासन कराए गए. इससे न केवल इनका तनाव का स्‍तर घटा बल्कि डीएनए की क्‍वालिटी में भी सुधार आया.   योगा से होगा, सच है कहावत..   डॉ. दादा कहती हैं कि इस स्‍टडी का निचोड़ यह है कि बच्‍चे पैदा करने में सिर्फ मां नहीं बल्कि पिता का भी अहम रोल है. बच्‍चा बार बार गिर रहा है तो वह मां की वजह से नहीं पिता के कमजोर डीएनए या स्‍पर्म की क्‍वालिटी के खराब होने की वजह से भी हो सकता है. ऐसे में जो लोग आईवीएफ या टेस्‍ट ट्यूब बेबी के लाखों खर्च करते हैं, इतना तनाव और कष्‍ट झेलते हैं, अगर वे योग, प्राणायाम और ध्‍यान करें तो उनके स्‍पर्म की डीएनए की क्‍वालिटी बेहतर होती है और वे नॉर्मली भी कंसीव कर सकते हैं. या फिर अगर वे टेस्‍ट ट्यूब बेबी के लिए जाते हैं तो उसका सक्‍सेज रेट भी बेहतर होगा. इसके अलावा जो बच्‍चा पैदा होगा, उसमें जेनेटिक बीमारियां कम होंगी और वह स्‍वस्‍थ होगा.   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jun 17, 2024

इसे कहते हैं चमत्‍कार! गर्भ में मरने वाला था बच्‍चा, अचानक जापान से आया खून और फिर हो गया कमाल

नई दिल्ली, 17 जून 2024 (यूटीएन)। ऑल इंडिया इंस्‍टीट्यूट ऑफ मेडिकल सांइसेज नई दिल्‍ली ऐसे ही देश का सबसे अच्‍छा अस्‍पताल नहीं है. यहां के डॉक्‍टर्स मरीजों के लिए भगवान हैं. तभी जिस महिला के 7 बच्‍चे गर्भ में ही मर चुके थे और आठवां बच्‍चा भी मौत के मुंह में समाने जा रहा था, एम्‍स उसके लिए किसी देव स्‍थान की तरह सामने आया और फिर जो चमत्‍कार हुआ, वह आश्‍चर्यचकित करने वाला है. हरियाणा के एक गांव की गरीब महिला जब एम्‍स में आई तो उसके 7 बच्‍चे गर्भ में ही मर चुके थे.   आसपास के दर्जनों डॉक्‍टर उसे कह चुके थे कि वह मां नहीं बन पाएगी, हालांकि पांच साल की शादी में उसने एक बार फिर गर्भवती होने का फैसला किया. इस बार वह आठवीं बार मां बनने जा रही थी लेकिन उसके साथ फिर वही होने वाला था कि उसके शरीर में बनी एंटीबॉडीज उसके बच्‍चे को पेट के अंदर-अंदर ही खत्‍म किए दे रही थीं. एम्‍स के गायनेकोलॉजी एंड ओबीएस विभाग की एचओडी डॉ. नीना मल्‍होत्रा बताती हैं कि हिस्‍ट्री देखने के बाद एम्‍स में आई इस महिला की सभी जांचें की गईं.   हालांकि इस ब्‍लड ग्रुप को ही डायग्‍नोस करना काफी क्रिटिकल था लेकिन एम्‍स के हेमेटोलॉजी विभाग ने सिर्फ ब्‍लड ही नहीं बल्कि जीन की भी जांच की, जिसमें पता चला कि इस महिला का आर-एच नेगेटिव ब्‍लड ग्रुप था, जो बच्‍चे को नहीं चढ़ पा रहा था. साथ ही इस महिला में एंटीबॉडीज थीं जो इस बच्‍चे को भी खत्‍म कर देंगी, ऐसे में इस बच्‍चे को बचाने का एक ही तरीका था कि मां के पेट के अंदर ही बच्‍चे को ये ब्‍लड चढ़ाया जाए.   *भारत में नहीं मिला ब्‍लड*   डॉ. नीना कहती हैं कि आरएच नेगेटिव ब्‍लड ग्रुप रेयर ऑफ द रेयरेस्‍ट है और एक लाख लोगों में किसी एक का ही होता है. ऐसे में बच्‍चे को बचाने के लिए भारत के सभी बड़े अस्‍पतालों और ब्‍लड बैंकों में इस ब्‍लड का पता लगाया गया तो यहां यह ब्‍लड नहीं मिला. हालांकि अंतर्राष्‍ट्रीय दुर्लभ ब्‍लड पैनल में एक भारतीय व्‍यक्ति इस ब्‍लड ब्‍लड ग्रुप का मिल गया लेकिन उसने खून देने से मना कर दिया. इसके बाद इस रेयर ब्‍लड की मांग इंटरनेशनल ब्‍लड रजिस्‍ट्री के सामने की गई, जिसमें जापान की रेड क्रॉस सोसायटी ने इस खून के उपलब्‍ध होने की बात कही.   *48 घंटे में भारत पहुंचा खून*   उसके बाद जापान से इस ब्‍लड की 4 यूनिट तत्‍काल भारत भेजी गईं. 48 घंटे में यह ब्‍लड भारत के एम्‍स पहुंच गया और महिला के पेट के अंदर ही बच्‍चे को चढ़ाया गया. इसके बाद महिला की डिलिवरी हुई और स्‍वस्‍थ बच्‍ची पैदा हुई.   *एम्‍स में आए कई केस, लेकिन ये पहली तरह का*   डॉ. नीना बताती हैं कि आमतौर पर खून की जरूरत किसी एक्‍सीडेंटल केस, सर्जरी या गर्भावस्‍था के दौरान ही पड़ती है. एम्‍स में हफ्ते में 5 या 6 केस ऐसे आते हैं जिनमें मां से बच्‍चे को खून नहीं चढ़ता और महिला व बच्‍चे को ब्‍लड ट्रांसफ्यूजन की जरूरत पड़ती है, लेकिन यह पहला मामला था जब आरएच नेगेटिव मदर और बच्‍चे के अलग जीन की पहचान कर, बाहर से रेयर ब्‍लड मंगवाकर, पेट में बच्‍चे को चढ़ाकर बचाया गया.   *डॉक्‍टर्स ही नहीं सोशल सपोर्ट सिस्‍टम भी जरूरी*   डॉ. नीना कहती हैं कि इस केस में जितनी मेहनत एम्‍स के डॉक्‍टरों ने की, उतनी ही एम्‍स के ब्‍लड बैंक, एनजीओ, सोशल सपोर्ट सिस्‍टम ने भी की, यही वजह थी कि भारत में कई जगह अनुमति लेने के बाद अंतर्राष्‍ट्रीय स्‍तर पर ब्‍लड की मांग किए जाने के बाद इतनी जल्‍दी जापान से खून मंगाया जा सका और बच्‍चे की जान बच गई.   *पिछले साल का है मामला, अब जर्नल में छपा*   डॉ. नीना कहती हैं कि दरअसल ये मामला पिछले साल का है, जब एम्‍स में यह महिला आई थी. चूंकि यह भारत का पहला मामला था जब जीन की पहचान कर, रेयरेस्‍ट ब्‍लड विदेश से मंगाकर बच्‍चे को बचाया जा सका. इसलिए इसे इंटरनेशनल जर्नल में भेजा गया. जहां यह अभी पब्लिश हुआ है.   विशेष संवाददाता, (प्रदीप जैन) |

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Jun 17, 2024

This Father's Day, Zing Celebrates the Unseen Coach in Our Lives with #DadMyFirstCoach

Mumbai, June 16, 2024 (UTN). This Father's Day, Zing is proud to unveil its latest campaign, #DadMyFirstCoach, celebrating the unique and invaluable role that dads play in our lives. More than just providers and protectors, dads are often our first coaches, offering unwavering support and cheering us on through life's many challenges.   These silent champions find joy in their children's small victories, knowing these moments pave the way for greater triumphs. Zing's new video beautifully captures the essence of fatherhood, highlighting the special ways dads express their love and support. They are our first coaches, biggest fans, and silent cheerleaders, always there to guide us toward success. This heartwarming tribute shines a light on the unsung heroes who shape our lives.   Pankaj Balhara, Business Head at Zing, shared, “Most of us wouldn’t be where we are today without the guidance and support of our fathers. They are the silent spectators who watch our every move and guide us quietly, helping us become the best versions of ourselves. This Father’s Day, we are highlighting the often-unacknowledged role dads play in shaping our skills, resilience, and character – essentially, being our first coaches.   Sometimes, the most significant victories come from the sidelines, by cheering on our children and celebrating their achievements. This video is a tribute to those dads who find their happiness in their children's success.” Join us in celebrating these remarkable role models this Father’s Day. Watch the #DadMyFirstCoach video and share your stories of the amazing dads who have helped you win in life. Let's honour the silent champions who win by watching us win.   Mumbai-Reporter, (Hitesh Jain).

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Jun 16, 2024

योग एवं चरित्र निर्माण शिविर, बेटियों ने सीखे आत्मरक्षा और उत्तम स्वास्थ्य के गुण

बडौत, 15 जून 2024 (यूटीएन)। जिला आर्य प्रतिनिधि सभा के तत्वाधान में चल रहे योग एवं चरित्र निर्माण के आवासीय शिविर में बेटियों को स्वास्थ्य और आत्मरक्षा के टिप्स के साथ ही लाठी चालन भी सिखाया तथा अनुशासन को सुखद जीवन के लिए महती जरूरत बताया।    नगर के चौ केहर सिंह दिव्य पब्लिक स्कूल में आर्य वीरांगना योग एवं चरित्र निर्माण आवासीय शिविर के तीसरे दिन शिक्षिका सुमेधा आर्या ने बेटियों को पीटी, सूर्य नमस्कार ,भूमि नमस्कार के साथ लाठी का अभ्यास कराया। साथ ही आत्मरक्षा के गुर भी सिखाए। वहीं बेटियों ने भी  जूडो कराटे का अभ्यास करते हुए बलिष्ठ बनने का संकल्प लिया। इस दौरान चरित्र निर्माण पाठशाला के सत्र में जिला मंत्री रवि शास्त्री ने कहा कि, अनुशासन में रहना, बंधन नहीं कहलाता, क्योंकि अनुशासन हमेशा सुखदायक है।   जबकि बंधन बहुत बार दुखदायी भी होता है। दोनों में यह बड़ा अंतर है। विद्यार्थी अपने जीवन में अनुशासन को आत्मसात् करते हुए अच्छे लक्ष्य की प्राप्ति के लिए निरंतर मेहनत करे। जीवन में कठोर परिश्रम वाले ही सफलता पाते हैं। इस अवसर पर प्रधानाचार्य रामपाल तोमर, आर्य विद्वान धर्मपाल त्यागी, कपिल आर्य, सुरेश आर्य, मीनाक्षी सिसोदिया, सविता आर्या भजनोपदेशक, स्वाति आर्या, परम वेद आदि उपस्थित रहे।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jun 15, 2024

जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने किया रक्तदान शिविर का उद्घाटन, सौ रक्तवीरों ने रक्त देकर बनाई मिसाल

बागपत, 14 जून 2024 (यूटीएन)। विश्व रक्तदाता दिवस के मौके पर रक्तदान करने के लिए दिखा लोगों में उत्साह। सुबह से ही लगी लंबी लाइन। नागरिकों के उत्साह और शिविर की व्यवस्था की सभी ने की प्रशंसा। इंडियन रेड क्रॉस समिति एवं नगर पालिका परिषद बागपत के तत्वाधान में नगर पालिका परिषद कार्यालय पर विशाल रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। शिविर का उद्घाटन इंडियन रेड क्रॉस समिति बागपत के अध्यक्ष जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने फीता काटकर किया।    उन्होंने रक्तदान को सर्वोत्तम दान बताया तथा सभी को मानव जीवन बचाने के लिए प्रत्येक तीन माह में रक्तदान अवश्य करने की बात कही। उन्होंने सभी रक्तदाताओं को बधाई दी और धन्यवाद किया। कार्यक्रम का संचालन इंडियन रेड क्रॉस सोसाइटी बागपत के सचिव व कार्यक्रम के मुख्य संयोजक अभिमन्यु गुप्ता ने बताया कि, 100 रक्त वीरों ने रक्तदान कर मिसाल पेश की है, जबकि और भी रक्तबीर लाइन में लगे थे, लेकिन रक्त बैंक में इससे ज्यादा रक्त सुरक्षित व संभालकर रखने की सुविधा नहीं थी।    कार्यक्रम में रेड क्रॉस समिति के जिला प्रभारी एसीएमओ डॉ एमएम भदोरिया एवं जिला संयुक्त अस्पताल के अधीक्षक डॉ एसके चौधरी का भी सहयोग रहा। रक्त बैंक की प्रभारी डॉ ऐश्वर्या चौधरी ने बताया, शिविर में आम जनता का उत्साह देखकर बड़ी प्रसन्नता हुई, लेकिन हम इससे ज्यादा रक्त नहीं ले सकते। इस अवसर पर इंडियन रेड क्रॉस समिति के कोषाध्यक्ष पंकज गुप्ता ने सभी रक्तदाताओं को पटका पहनकर सम्मानित किया व उपयोगी सर्टिफिकेट प्रदान किए ।    शिविर को सफल बनाने में बागपत व्यापारी संघ के अध्यक्ष मनोज गोयल ब्राह्मण सभा के जिला संयोजक राजपाल शर्मा पूर्व प्रधानाचार्य जयपाल शर्मा, एड गजेंद्र सिंह, बागपत लायंस क्लब के अध्यक्ष महेश शर्मा एड विपिन गुप्ता, वैश्य एकता परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ राजीव गुप्ता, सभासद संजय रोहिल्ला, व्यापारी संघ के महामंत्री विक्की चौधरी, किसान यूनियन के जिलाध्यक्ष एवं बागपत नगर पालिका के अधिकारी, हरलाल मेमोरियल ट्रस्ट के अध्यक्ष चौ रणबीर सिंह, एड विश्वकर्मा सहित अनेक व्यक्तियों ने सहयोग किया । जिला रक्त बैंक के केएल भारती प्रीति वर्मा अमित कुमार यादव सहित कर्मचारियों ने सहभागिता की।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jun 14, 2024

समाज को दिशा देने में बेटियों की अहम भूमिका, स्वस्थ तन और मन ही उत्तम चरित्र का आधार: डॉ गीतांजलि

बडौत, 13 जून 2024 (यूटीएन)। जिला आर्य प्रतिनिधि सभा के तत्वाधान में शुरू हुआ बेटियों के लिए योग एवं चरित्र निर्माण हेतु आवासीय शिविर। इससे पूर्व शारीरिक, मानसिक व प्रकृति को प्रदूषण से मुक्ति दिलाने वाले वैदिक यज्ञ का आयोजन कर शिविर की सफलता की कामना की गई। नगर के चौ केहर सिंह दिव्य पब्लिक स्कूल में बेटियों को संस्कारित करने के लिए आर्य वीरांगना योग एवं चरित्र निर्माण आवासीय शिविर के भव्य उद्घाटन समारोह की मुख्य अतिथि डॉ गीतांजलि तोमर ने कहा, स्वस्थ शरीर ही असली निधि है। जो व्यक्ति 24 घंटे में से 24 मिनट अपने शरीर के लिए नहीं निकालते, उन्हें शारीरिक पीड़ा के साथ-साथ पैसा भी खर्च करना पड़ता है।   साथ ही बाद में वे डॉक्टरों के लिए समय भी निकालते हैं। कहा, बेटियों के चरित्र का निर्माण करने से दो परिवारों का कल्याण होता है। समाज को संस्कारवान बनाने की आवश्यकता है, जिसकी जिम्मेदारी नारी शक्ति को वहन करनी होगी। जिलामंत्री रवि शास्त्री ने कहा, बच्चों में गुणात्मक सुधार के लिए लगातार कार्य करते रहेंगे। संस्कारित बेटी ही राष्ट्र को नई दिशा दे सकती है। शिविरों के माध्यम से हम संस्कारित बेटियां तैयार करने का कार्य कर रहे हैं। इस अवसर पर मीरा वर्मा, सविता आर्या, धर्मपाल त्यागी,रामपाल तोमर, मीनाक्षी सिसोदिया, राजेश उज्ज्वल, सुमेधा आर्या, कपिल आर्य, संजय तोमर आरती रानी, मंजू, कैप्टन विनोद कुमार आदि उपस्थित रहे।   स्टेट ब्यूरो,( डॉ योगेश कौशिक ) |

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Jun 13, 2024